पालघर लोकसभा सीट को लेकर महायुति में अभी तक नही सुलझी गुत्थी
पालघर लोकसभा सीट को लेकर महायुति में अभी तक नही सुलझी गुत्थी
वसई - विरार : पालघर लोकसभा सीट से मौजूदा सांसद राजेंद्र गावित का विरोध करने के बाद बीजेपी उग्र हो गई है. भाजपा ने बुधवार को स्पष्ट किया कि गावित के विरोध का पत्र शहर अध्यक्ष ने उत्साह में आकर लिखा था और यह उनका निजी रुख है. हालांकि महायुति में अभी तक पालघर लोकसभा सीट की गुत्थी सुलझी नहीं है. बीजेपी ने इस सीट की मांग की है जबकि शिंदे गुट भी इस सीट पर अपना दावा ठोंक रही है. फिलहाल मौजूदा सांसद राजेंद्र गावित को उम्मीदवारी दिलाने के लिए शिंदे गुट की कोशिशें जारी हैं. इससे बीजेपी खेमे में बेचैनी फैल गई है.भाजपा के वसई शहर मंडल अध्यक्ष महेश सरवणकर ने 22 मार्च को पार्टी अध्यक्ष चंद्रकांत बावनकुले को पत्र लिखकर गावित की उम्मीदवारी का विरोध किया था। गावित के प्रति काफी नाराजगी जताई थी. इस पत्र में कहा गया था कि अगर गावित को नामांकित किया गया तो उनकी हार होगी. जिससे महायुति में गड़बड़ी सामने आ गयी. इस पत्र को लेकर शिंदे गुट ने कड़ी आपत्ति जताते हुए अपना गुस्सा जाहिर किया था.बीजेपी के वसई शहर मंडल अध्यक्ष महेश सरवणकर ने अति उत्साह में गावित का विरोध किया है. बहरहाल यह उनकी निजी प्रतिक्रिया है किंतु बीजेपी की प्रतिक्रिया ऐसी कतई नहीं है, ऐसा पार्टी के प्रसिद्धि प्रमुख मनोज बारोट ने स्पष्ट किया है.बारोट ने यह भी स्पष्ट किया कि पालघर लोकसभा के लिए चुनाव चिन्ह और उम्मीदवार जो भी घोषित किया जाएगा, प्रत्येक भाजपा कार्यकर्ता यह मानकर काम करेगा कि उनका उम्मीदवार नरेंद्र मोदी ही हैं।बीजेपी के जिला अध्यक्ष ने भी महेश सरवणकर की भूमिका से इंकार किया है. बीजेपी हमेशा गठबंधन धर्म निभाती है.भाजपा के शीर्ष नेतृत्व से मिले निर्देशों के आधार पर ही भाजपा जिलाध्यक्ष से लेकर बूथ स्तर के कार्यकर्ता काम करते हैं। हमारे महागठबंधन में किसी भी प्रकार की कोई शंका नहीं है. पार्टी के समन्वयक राजन नाइक और भाजपा वसई विरार जिला अध्यक्ष महेंद्र पाटिल ने विश्वास जताया है कि पार्टी उम्मीदवार को भारी मतों से जीत दिलाकर दिल्ली भेजेगी।
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